अलाऊद्दीन खिलजी की बाजार नियंत्रण नीति in Hindi

  अलालुदीन खिलजी की बाजार नियंत्रण नीति in hindi परिचय  • अलालुद्दीन खिलजी, खिलजी वंश का शासक था , जो की अपनी शक्ति से सम्पूर्ण भारत पर अपना अधिकार करना चाहता था इसलिए अलाउद्दीन खिलजी ने दिल्ली सल्तनत का शासक होते हुए स्वयं को अपारशक्तिशाली बनाने के लिए कई योजनाएं बनाई थी जिसमे से  उसकी " बाजार नियंत्रण नीति व योजना " इतिहास में अत्यधिक महत्वपूर्ण मानी जाती है क्योंकि ये योजना का वर्तमान अर्थ व्यवस्था में भी उपयोग होता है ।  [ बाजार नियंत्रण नीति अपनाने का कारण ] 1. आर्थिक स्थिति को लंबे समय के लिए मजबूत बनाने  रखने की सोच :  अलाउद्दीन खिलजी ने दिल्ली सल्तनत का शासक होते हुए बाहरी अभियान किए थे जिसमे उसको अपार धन खर्च करना पड़ा था ।  2. स्थायी सैन्य व्यवस्था की स्थापना : अलाउद्दीन को स्मरण था की विश्व विजय प्राप्त करने के उद्देश्य की पूर्ति के लिए उसके पास विशाल सेना होने के साथ ही साथ दिल्ली सल्तनत में एक बड़ी , बलवान , सशस्त्र स्थायी सेना का होना अत्यधिक महत्वपूर्ण है अर्थात अलाउद्दीन के लिए महत्वपूर्ण था कि वो दिल्ली में स्थायी सेना को सुसज्जित करक...

मकर संक्रांति का इतिहास

मकर संक्रांति का इतिहास

परिचय

मकर संक्रांति भारत और नेपाल का एक प्रमुख उत्सव है ‘मकर संक्रांति’ । प्राचीनकाल से इस उत्सव का विशेष स्थान भारत के  विभिन उत्सवों मे से एक है | यह सनातन धर्म मे मनाया जाता है जिसका अर्थ होता है - सूर्य की संक्रांति । 

 जब सूर्य पृथ्वी की दक्षिण दिशा से उत्तर की दिशा मे यात्रा करता है अर्थात सूर्य मकर राशि मे प्रवेश करता है तब इसे “मकर संक्रांति’' या सूर्य की संक्रांति कहा जाता है । इस दिन से बड़े दिन प्रारंभ होते है , फसल मे वृद्धि के लिए सूर्य की किरण फसल का एक पोषक तत्व होता है , इसी दिन से फसल मे सूर्य की प्रथम किरणे पड़ती है ।

 यह दिन फसल मे समृद्धि की प्रक्रिया का प्रथम दिन होता है , इसके पश्चात पूरे वर्ष फसल का विकास होता है । किसान वर्ग फसल के विकास के लिए प्रसन्न हो कर सूर्यदेव को नमस्कार कर सूर्य पूजा करते है । 

   

Makar-Sankranti-Ka-Itihaas


        मकर संक्रांति उत्सव मे प्रसिद्ध क्रियाएं 

•  मकर संक्रांति मे विशेष रूप से खिचड़ी का भोजन किया जाता है। खिचड़ी को सूर्य से संबंधित किया गया है इसलिए खिचड़ी मकर संक्रांति मे विशेष है ।

•  खिचड़ी के भोग का दान किया जाता है तथा भंडारा आयोजित किया जाता है ।

•  प्रसिद्ध गंगा नदी अर्थात अन्य पूजनिय नदियों मे स्नान किया जाता हैं ।

• मकर संक्रांति के दिन दान के लिए खिचड़ी , सब्जियां , तिल , गुड़  और दालो को भी शामिल किया जाता है |

 

   विभिन्न राज्यों मे मकर संक्रांति के प्रसिद्ध नाम 

 

उत्तर प्रदेश – खिचड़ी पर्व , मकर संक्रांति 

मध्य प्रदेश – संक्रांत , तिल संक्रांति 

तमिलनाडु – पोंगल

आन्ध्र प्रदेश – पेड्डा पांडुगा (बड़ा त्योहार) 

असम – माध बीहू

बंगाल – पौष संक्रांति

बिहार – तिला संक्रांत

राजस्थान – उत्तरायण

पंजाब – माधी

हरियाणा – लोहड़ी

उत्तराखंड - घुघुतिया त्योहार

हिमाचल प्रदेश – माघ साजी

तेलंगाना – मकर संक्रांति

गुजरात – उत्तरायण

सिक्किम – माधी मेल

गोवा – हल्दी कुमकुम , माधी संक्रांति

जम्मू – उत्तरायण , उत्तरानी माधी , संगरंद   

 कश्मीर – शिशुर संक्रांति

छातीसगढ़ – दही चूर , तिल संक्रांति

कर्नाटक – एलु बिरोधु

झारखंडः – टुसू पर्व

केरल – मकर विलक्कू

मणिपुर – चेरोबा महोत्सव

मिजोरम – चपचारकुट

ओडिशा – बड़ी सीसन

त्रिपुरा – खिचड़ी संक्रांति


 

Makar-Sankranti-Ka-Itihaas


 

 

 

 

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